माओवाद के खिलाफ लड़ाई अपने आखिरी दौर में, अमित शाह ने दिया सीआरपीएफ को पूरा श्रेय
माओवाद के खिलाफ लड़ाई अपने आखिरी दौर में, अमित शाह ने दिया सीआरपीएफ को पूरा श्रेय
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि पिछले नौ वर्षों में सीआरपीएफ ने माओवादी उग्रवाद के खिलाफ एक भयंकर लड़ाई लड़ी और हम हर बार जीते।
गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार (25 मार्च, 2023) को छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के 85वें स्थापना दिवस समारोह में शिरकत की। इस दौरान गृह मंत्री ने कहा कि माओवादियों से लड़ते हुए शहीद हुए सीआरपीएफ जवानों के कारण ही देश जीत हासिल करने के अंतिम चरण में है। उन्होंने कहा कि देश में आंतरिक सुरक्षा और शांति दोनों के लिए जनता का सम्पूर्ण भरोसा CRPF के जवानों पर है, जो उनके साहस और शौर्य से निर्मित हुआ है। पहली बार वामपंथी उग्रवाद के केंद्र छत्तीसगढ़ के बस्तर में CRPF दिवस परेड का आयोजन हो रहा है यह पूरे देश के लिए गर्व की बात है।
छत्तीसगढ़ के जगदलपुर में हुए कार्यक्रम में शाह ने कहा कि, सीआरपीएफ ने अलग-अलग राज्यों की पुलिस के साथ मिलकर ज्वाइंट टास्क फोर्स बनाई। इससे वामपंथी उग्रवादियों को अंतरराज्यीय सीमाओं का लाभ उठाने से रोका जा सके। कहा कि, जो वामपंथी उग्रवादी जनजातीय क्षत्रों के विकास में रोड़ा बने हुए थे, उन्हें हटाने का काम भी सीआरपीएफ ने किया है। समस्या वाले सभी क्षेत्रों में सीआरपीएफ ने स्थानीय पुलिस को साथ लेकर उनकी हौसला अफजाई करते हुए एक अभेद्य शक्ति का निर्माण किया और सामंजस्य के साथ अपने संगठन कौशल का भी परिचय दिया।
सीआरपीएफ के आधुनिकीकरण के लिए हो रहा काम
केंद्रीय गृहमंत्री ने कहा कि, छत्तीसगढ़ बस्तरिया बटालियन में 400 स्थानीय युवाओं की भर्ती की गई है। वामपंथी उग्रवाद-प्रभावित क्षेत्र में सड़कों का निर्माण हुआ है। यहां 398 पुल और पुलिया बनाने में सीआरपीएफ ने बड़ा योगदान दिया है।
प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में सीआरपीएफ के आधुनिकीकरण पर ध्यान दिया गया है। 2022-23 में ही 14 परियोजनाओं को पूरा किया गया। जगदलपुर में ट्रॉमा सेंटर और बटालियन में मूलभूत सुविधाओं को उपलब्ध कराने के लिए 4309 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। करीब 11 हज़ार मकान बन चुके हैं और 28,500 सीएपीएफ के लिए बनाने का काम जारी है।
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