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मुख्यमंत्री ने मीटिंग कर आगरा में भेजे नये दूत

सीएम योगी ने आगरा के बढ़ते आंकड़ों को देखकर, आज फिर से नई टीम भेजी है.जिसने कोरोना कंट्रोल करने की कवायद शुरू कर दी है.हर दिन के साथ ताजनगरी में बढ़ रहे हैं संक्रमण के मामलों को देखते हुए शासन ने नये नोडल अधिकारी को नियुक्‍त कर आगरा भेजा है। सचिव ऊर्जा एम देवराज आगरा पहुंच चुके हैं और सर्किट हाउस में नए नोडल अधिकारी स्‍थानिय प्राशासनिक अधिकारियों के साथ सर्किट हाउस बैठक कर रहे हैं। नोडल अधिकारी जल्द ही आगरा की स्वास्थ सेवाओं सहित कंटेन्मेंट जोन का निरीक्षण करने निकलेंगे। ये सारी कवायद संक्रमितों के आंकड़ों में कमी लाने के लिए की जा रही है।

देश की राजधानी दिल्‍ली से लेकर पूरे देश में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। ताजनगरी में भी संक्रमितों का ग्राफ डराने वाला है। बीते एक सप्‍ताह में संक्रमितों की संख्‍या में बीते एक सप्‍ताह से संख्‍या लगातार 10 से ऊपर ही बनी हुई है। यह तब है, जब सैंपल की संख्‍या शुरुआती दौर के मुकाबले इन दिनों कम है। रविवार को मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने आगरा के हालात को संज्ञान में लिया और आगरा की कोरोना संक्रमण की समग्र रिपोर्ट पांच दिन में तलब की है। 

सूबे के कोरोना संक्रमित 11 जिलों में आगरा और फीरोजाबाद शामिल हैं, जहां हालात नियंत्रण में नहीं हैं। इसी के चलते सोमवार सुबह यहां नये नोडल अधिकारी पहुंच गए और स्थिति को काबू में करने के लिए मंथन शुरू कर दिया। बैठक में नोडल अधिकारी द्वारा आगरा में कुल मरीजों की संख्‍या, अब तक हुई मौत, कंटेनमेंट जोन की संख्‍या और हर दिन बढ़ती मरीजों की संख्‍या की जानकारी ली गई। इसके अलावा कोरोना सेंटर हॉटस्‍पॉट सेंटर के बारे में भी पूछताछ की इन सबके अलावा 6 फुट की शारीरिक दूरी का कितना पालन किया जा रहा है, इस बारे में पूछताछ की।

कांटेक्ट ट्रेसिंग बंद होने के बाद से बिगडे हालात

कोरोना पॉजिटिव मरीज मिलने के बाद वह किस के संपर्क में आया, यह पता कर उन लोगों के सैंपल कराए जाते थे। मगर, एक ​महीने से कांटेक्ट ट्रेसिंग बंद है। कोरोना संक्रमित मरीज के घर के आस पास बल्ली लगाकर कंटेनमेंट जोन बना दिया जाता है। इनके भी सैंपल बाद में कराए जा रहे हैं। ऐसे में कोरोना संक्रमित मरीज जिन लोगों से मिला है, उससे अन्य लोग संक्रमित होते जा रहे हैं। ऐसे में जिन लोगों की उम्र 60 साल से अधिक है, उन्हें संक्रमण के बाद कमजोरी, हल्का बुखार, थकान की समस्या हो रही है। कई दिन तक इसी तरह की समस्या होने के बाद सांस लेने में परेशानी होने पर भर्ती कराया जा रहा है। ऐसे में दो से तीन दिन में मौत हो रही है। 

*रिपोर्ट | भोवन सिंह ब्यूरो चीफ आगरा उ0प्र0*
( *NEWS 24 INDIA न्यूज चैनल*)

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